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भारतीय संस्कृति महत्वपूर्ण लेख स्वर्णिम इतिहास हमारे क्रांतिकारी / महापुरुष

वनवास में रहे प्रभु श्री राम वनवासीयों के ज़्यादा क़रीबी थे

यह एक एतिहासिक तथ्य है कि प्रभु श्री राम ने लंका पर चढ़ाई करने के उद्देश्य से अपनी सेना वनवासियों एवं वानरों की सहायता से ही बनाई थी। केवट, छबरी, आदि के उद्धार सम्बंधी कहानियाँ तो हम सब जानते हैं। परंतु, जब वे 14 वर्षों के वनवास पर थे तो इतने लम्बे अर्से तक वनवास […]

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पर्व – त्यौहार भारतीय संस्कृति

शरद ऋतु के बारे में भारतीय ऋषियों का चिंतन

शरं ददाति इति शरदः ॥ शरद का अर्थ है कि जिस ऋतु में शर (बाण) प्राप्त हों वह शरद है। शर किसलिये? अपनी सुरक्षा के लिये। यही वह ऋतु है जब सरकण्डा मिलता है जिसका उपयोग बाण बनाने में किया जाता था। शर या इषु , मास इष ऋतु शरद । यही शर थे जिन्हें […]

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भारतीय संस्कृति व्यक्तित्व

देश धर्म की उन्नति के लिए समर्पित होकर प्रचार किया और ऋषि भक्त चमनलाल रामपाल जी ने

ओ३म् ================ आर्यसमाज का आठवां नियम है कि अविद्या का नाश तथा विद्या की वृद्धि करनी चाहिये। आर्यसमाज ने इस नियम का पालन करते हुए देश देशान्तर से अविद्या दूर करने के अनेक उपाय किये जिनसे देश में जागृति व परिवर्तन आया है। ज्ञान का प्रचार व प्रकाश मौखिक व्याख्यानों तथा लेखन आदि के द्वारा […]

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भारतीय संस्कृति

वेदों में वर्णित प्रत्येक मनुष्य के लिए नित्य करणीय पांच कर्त्तव्य कर्म

ओ३म् =========== मनुष्य संसार में आता है। उसकी माता उसकी प्रथम शिक्षक होती है। वह माता जो अच्छा व उचित समझती है वह ज्ञान अपनी सन्तानों को देती है। प्राचीन काल में हमारी सभी मातायें व समाज की स्त्रियां वैदिक शिक्षाओं में निपुण होती थी। उन्हें सत्य व असत्य ज्ञान का विवेक हुआ करता था। […]

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भारतीय संस्कृति

भारतीय संस्कृति का आधार- धर्म, समन्वय और आचार

सुशील कुमार शर्मा संस्कृति जीवन की विधि है। संस्कृति हमारे जीने और सोचने की विधि में हमारी अंत:स्थ प्रकृति की अभिव्यक्त है। सभ्यता और संस्कृति को समानार्थी समझ लिया जाता है, जबकि ये दोनों अवधारणाएं अलग-अलग हैं। संसार के सभी विद्वानों ने ‘संस्कृति’ शब्द की विभिन्न परिभाषाएं, व्याख्याएं की हैं। कोई सर्वमान्य परिभाषा नहीं मिल […]

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भारतीय संस्कृति

मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम और थाईलैंड की अयोध्या

डॉ. जितेन्द्रकुमार सिंह संजय अयोध्या का नाम लेते ही स्मृति-पटल पर सरयू के किनारे अवस्थित सूर्यवंश के चक्रवर्ती सम्राटों की उस राजधानी का भव्य चित्र मुखरित होता है, जिसकी स्थापना वैवस्वत मनु ने की है। वस्तुत: सरयू के किनारे बसी अयोध्या केवल सूर्यवंशी सम्राटों की राजधानी ही नहीं है, अपितु प्रत्येक हिन्दू के हृदय में […]

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भारतीय संस्कृति भाषा

देववाणी संस्कृत सचमुच एक वैज्ञानिक और अतुलनीय भाषा है

ये पोस्ट अद्भुत एवं अतुलनीय है…. क्या आप जानते है विश्व की सबसे ज्यादा समृद्ध भाषा कौन सी है….. अंग्रेजी में ‘THE QUICK BROWN FOX JUMPS OVER A LAZY DOG’ एक प्रसिद्ध वाक्य है। जिसमें अंग्रेजी वर्णमाला के सभी अक्षर समाहित कर लिए गए, मज़ेदार बात यह है की अंग्रेज़ी वर्णमाला में कुल 26 अक्षर […]

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भारतीय संस्कृति

प्राचीन भारत में मंदिर धार्मिक केंद्र होने के साथ-साथ मजबूत आर्थिक केंद्र भी रहे

अजीत कुमार हिंदू मंदिर सदा से ही समाज तथा भारतीय सभ्यता के केंद्रबिंदु के रूप में स्थापित रहे हैं। मंदिर आध्यात्मिक तथा अन्य धार्मिक गतिविधियों के साथ-साथ विविध प्रकार के समाजोपयोगी गतिविधियों के भी प्रमुख केंद्र रहे हैं। इतिहास बताता है कि प्राचीन काल से लेकर अट्ठारहवीं और उन्नीसवीं शताब्दी तक ये मंदिर ज्ञान-विज्ञान, कला […]

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भारतीय संस्कृति

भारतीय व्यवस्था और भारतीय संस्कृति

बजरंग मुनि व्यवस्था तथा संस्कृति एक दूसरे के पूरक होते हैं। व्यवस्था का प्रभाव संस्कृति पर पड़ता है तथा संस्कृति का व्यवस्था पर। दुनिया में वर्तमान समय में चार संस्कृतियां प्रमुख हैं जिनका व्यवस्थाओं पर दूरगामी प्रभाव है। (1) इस्लामिक (2) पाश्चात्य (3) भारतीय (4) साम्यवादी। साम्यवाद ने संस्कृति को रौंदकर बुलडोजर प्रणाली से व्यवस्था […]

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भारतीय संस्कृति

संसार में वेदों की अप्रवृत्ति होने के कारण अनेकों अविद्या युक्त मत उत्पन्न हुए

ओ३म् =============== संसार में वर्तमान समय में सहस्राधिक अवैदिक मत प्रचलित हैं जिनकी प्रवृत्ति व प्रचलन पांच हजार वर्ष पूर्व हुए महाभारत युद्ध के बाद हुआ है। सभी मतों का आधार चार प्रमुख मत हैं जो पुराण, जैन मत के ग्रन्थों, बाईबल तथा कुरान आदि ग्रन्थों के आधार पर प्रचलित हुए हैं। महाभारत युद्ध से […]

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