भारतीय संविधान में नागरिकों के मौलिक अधिकारों एवं कर्तव्यों का विवरण अध्याय 2 , 3 , 4, और 4 A में मिलता है। अध्याय 2 में भारतीय नागरिकता किसको प्राप्त होगी ?- इसके संबंध में प्रावधान किया गया है। 26 जनवरी 1950 कोजब भारतीय संविधान लागू हुआ तब किस-किस को नागरिकता की मान्यता देनी […]
श्रेणी: महत्वपूर्ण लेख
डॉ. ओमप्रकाश पांडेय भारतीय परम्परा में वेद को ब्रह्माण्डीय ज्ञान के मूल स्रोत के रूप में स्वीकार करते हुए इसे ईश्वर का नि:श्वास ही माना गया है (यस्य नि:श्वसितं वेदा यो वेदोभ्योऽखिलं जगत्)। यद्यपि वेदों का प्रतिपाद्य विषय सार्वभौमिक उत्कृष्टता के समुच्चय से ही संबंधित है, जिसे देश या काल के आधार पर विभाजित […]
प्रो. कुसुमलता केडिया यह आज हमें पता है कि भारत का वर्तमान स्वरूप 15 अगस्त 1947 की देन है। आज अखंड भारत की कल्पना में हम केवल पाकिस्तान और बांग्लादेश को जोड़ते हैं। परंतु हमें यह स्मरण रखना चाहिए कि बर्मा, श्रीलंका, अफगानिस्तान आदि भी भारत के ही भाग रहे हैं। यदि हम केवल […]
*पुष्पक अवस्थी की वाल से साभार *मैने कुछ माह पूर्व लिखा था कि मेरा आंकलन है कि 2020 के जाते जाते भारत जलेगा। मुझे लगता था कि सितंबर 2020 के बाद भारत को सीमाओं पर और आंतरिक रूप से झझकोरा जाएगा।* *भारत में लगने वाली यह आंतरिक दवानल, चीन के लिए उस अनुकूल स्थिति का […]
विनोद कुमार सर्वोदय पिछले दिनों समाचार पत्रों से पुनः यह ज्ञात हुआ है कि रोहिंग्या मुस्लिम घुसपैठियों को जम्मू में बसा कर वहां के जनसंख्या संतुलन (डेमोग्राफी) को बिगाड़ कर देश को निरंतर आहत किया जा रहा है। वर्षों से बंग्लादेशी व अब म्यांमार के घुसपैठियों ने हमारे देश में अपराध व आतंक […]
विष्णुगुप्त क्रांति काल और शांति काल की राजनीति में अंतर होता है। क्रांति काल की राजनीति की सीमाएं अराजक भी होती हैं, उफान वाली भी होती हैं, हिंयक भी होती हैं, सारी मान्यताओं और परमपराओं को तोड़ने वाली होती है जबकि शांति काल की राजनीति न तो अराजक होती है और न ही मान्यताओं और […]
सुरेश हिन्दुस्थानी जहां तक भारतीय परिवेश और खानपान की बात है तो यह कहना भी जरूरी है कि कोरोना संक्रमण के दौरान यह बात सबके ध्यान में भी आ चुकी है कि हाथ मिलाने के स्थान पर नमस्ते करने से भी संक्रमण से बचा जा सकता है। कोरोना के प्रति शासन, प्रशासन और आम […]
राष्ट्रीय उपलब्धियों,समस्याओं और अन्य समाचारों का प्रसार व प्रचार करने के लिए महत्वपूर्ण भूमिका निभाने में समाचार पत्रों व टीवी न्यूज चैनलों का वर्षो से विशेष योगदान बना हुआ है। उसी कड़ी में बढ़ते संचार संसाधनों के कारण ट्विटर,फेसबुक व व्हाट्सऐप आदि की जन जन तक पहुँच होने से बढ़ते संवादों ने सोशल मीडिया को […]
समय रहते अगर होश में नही आये तो फिर – कोई कुछ नही कर पायेगा। *–– मुसलमान भारत का इस्लामीकरण क्यों करना चाहते है –??–* जानिये — क्या सोचते हैं ये लोग…. पाकिस्तान मिलने के बाद मुसलमानों ने नारा दिया : *”हँस के लिया है पाकिस्तान, लड़ लेंगे हिन्दुस्तान”।* इसीलिए १९४७ से ही भारत […]
एक तरफ चुनावी मौसम विशेषज्ञ डूबते जहाज को छोड़ अपनी जीविका के अपने नए आश्रय की ओर कूच कर रहे हैं, लेकिन कुछ दल अभी भी अपनी विध्वंस और अराजक पृष्ठभूमि त्यागने को तैयार नहीं। नवंबर 28 को उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा हैदराबाद में ओवैसी के गढ़ को भगवामय करने के अलावा […]