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संपादकीय

आतंकवाद गया ही कहां था?

पिछले दिनों अमेरिका का बोस्टन और भारत का बंगलौर आतंकी घटनाओं से दहलाए गये हैं। कई टिप्पणीकारों या समाचार पत्रों ने अमेरिका के बोस्टन में घटी आतंकी घटना पर कहा है कि अमेरिका में आतंकवाद फिर लौटा। मुझे टिप्पणीकारों की ऐसी टिप्पणियों पर तरस आता है। क्योंकि ऐसी बातें करना अपनी बुद्घिहीनता का ही परिचय […]

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राजनीति

हम और हमारे लोकतंत्र की दिशा क्या ठीक है?

मनीराम शर्माजापान के संविधान के अनुच्छेद 35 में आगे प्रावधान है कि समस्त लोगों का अपने घरों में, कागजात और सामान का प्रवेश, तलाशी और जब्ती के प्रति सुरक्षित रहने के अधिकार का पर्याप्त कारण और विशेष रूप से तलाशी के स्थान और तलाशी की वस्तुओं का उल्लेख सहित जारी वारंट या अनुच्छेद 33 में […]

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इसलाम और शाकाहार

कुरान और हदीस की रोशनी में शाकाहार-3

मुजफ्फर हुसैनगतांक से आगे….यदि अहराम में हज यात्रा के समीप पवित्र काबा के आसपास तुमने जानवर की जान से खेलने का पाप किया और जान बूझकर उसे मार दिया तो तुम्हें बदले में उसी के समान एक जानवर देना होगा। नही दे सकते तो उसके मूल्य के बराबर भूखे को खाना खिलाना होगा और यह […]

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बिखरे मोती

आओ समझें: गायत्री संध्या- का वास्तविक रहस्य

गायत्री मंत्र की बहुत मान्यता है, उसे सावित्री मंत्र भी कहते हैं, गुरूमंत्र तथा महामंत्र भी कहते हैं, वास्तव में गायत्री यह छंद है, जिसमें 24 अक्षर रहते हैं। इस गायत्री मंत्र में तत्सवितु:… प्रचोदयात पर्यंत 23 अक्षर ही है, अत: इसे निचृद गायत्री कहते हैं। अस्तु। इस गायत्री मंत्र को पढ़ने से पूर्व उसमें […]

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प्रमुख समाचार/संपादकीय

आर्थिक क्षेत्र में क्या हम सचमुच आजाद हैं

विकास कुमार गुप्ताईस्ट इंडिया कंपनी को चार्टर निर्गत होता है भारत के लियें। 20-20 साल के लिये इसे चार्टर (अधिकार पत्र) दिया जाता रहा। पहला चार्टर सन् 1600 में दिया गया। ब्रिटिश संसद में परिचर्चा के दौरान बिलियम फोर्स कहता है कि हमें भारत में फ्री ट्रेड करना है। और वह फ्री ट्रेड का अर्थ […]

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संपादकीय

कायदे आजम, वायदे आजम और फायदे आजम

1947 में जब देश बंटवारे की तरफ बढ़ रहा था, तो उस समय देश के पांच बड़े नेताओं की मानसिकता कुछ इस प्रकार थी- -जिन्नाह तपेदिक से बीमार थे। -गांधी ‘बाबा’ लाचार थे। -नेहरू सत्ता के लिए तैयार थे। -सबसे अधिक चिंतित सरदार थे। -माउंटबेटन सबसे मक्कार थे। सचमुच देश की सारी राजनीति उस समय […]

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प्रमुख समाचार/संपादकीय

खून का बदला खून-२

शांता कुमारगतांक से आगे…..उसके इस व्यवहार को देख पास खड़े यशपाल ने सुखदेव को कहा यह सहन नही हो रहा है। लालाजी का वृद्घ शरीर उन लाठियों के प्रहार को सहन न कर पाया। इस घटना के कुछ ही दिन बाद 17 नवंबर 1928 को उनका प्राणान्त हो गया। सरकार के पाशविक अत्याचारों से भारतीयों […]

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आओ कुछ जाने

इनको भी जानिए : ‘आवश्यक जानकारी’

भारत में प्रथम -भारतीय गणराज्य के राष्ट्रपति: डा. राजेन्द्र प्रसाद-स्वतंत्र भारत के प्रधानमंत्री : जवाहरलाल नेहरू-भारत की महिला प्रधानमंत्री : श्रीमति इंदिरागांधी-वायुसेना का अधिकारी जिसने परमवीर चक्र प्राप्त किया (मरणोपरांत) : निर्मलजीत सेखों-नोबेल पुरस्कार प्राप्त करने वाला भारतीय : रविन्द्र नाथ टैगोर-भारतीय गणराज्य के मुस्लिम राष्ट्रपति : डा. जाकिर हुसैन-इंडियन नेशनल कांग्रेस के सभापति : […]

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महत्वपूर्ण लेख

जीवन में शांति क्यों नही

रामकुमार वर्माहम प्राय: देखते हैं कि हम भगवान की खूब पूजा करते हैं भजन भी करते हैं दान भी करते हैं, भंडारा भी करते हैं रोज मंदिर जाकर भगवान के दर्शन भी करते हैं, व्रत भी रखते हैं यानी कि भगवान से खूब धन, अच्छा स्वास्थ्य पुत्र, मकान दुकान आदि आदि पाने के लिए जो […]

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राजनीति

भाजपा को रियायत नहीं देना चाहती नीतीश लॉबी

बीरेन्द्र सेंगरएनडीए में बहुचर्चित नरेंद्र मोदी के विवादित मुद्दे पर जदयू की आंतरिक राजनीति में भी सरगर्मी तेज हो गई है। शनिवार और रविवार को पार्टी कार्यकारिणी और राष्ट्रीय परिषद की बैठक यहां होने जा रही है। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सिपहसालारों ने तैयारी शुरू कर दी है कि पार्टी की इस बैठक […]

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