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आओ कुछ जाने

वेद, वैदिक और भारतीय ज्योतिष साहित्य में पृथ्वी

प्रस्तुत लेख में ब्रह्माण्ड में अनेक पृथिवियों, पृथ्वी के गोल होने, पृथ्वी की गति, ऊपरी आवरण और गर्भ, आकर्षण-शक्ति, मूल तथा पृथ्वी पर समुद्र और हिन्दुओं के विभिन्न ग्रन्थों (शास्त्रों) में वर्णित वनस्पति के विषय में लेखन का प्रयास किया गया है। अथर्ववेद (८/९/१) में ‘कतमस्या पृथिव्या:’ में हमें इस विराट नभोमण्डल में उक्त छन्दांश […]

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आओ कुछ जाने

सी से कैमल नहीं, क्रम से कैमल

ऊंट जिसे रेगिस्तान का जहाज कहते हैं उसके लिए दुनिया की भिन्न भिन्न भाषाओं में अनेक नाम है । ऊंट के लिए सर्वाधिक शब्द संस्कृत भाषा में मिलते हैं यह संस्कृत भाषा की विलक्षणता है इसमें एक वस्तु के लिए जहां अनेक नाम मिलते हैं तो एक ही नाम यहां अनेक वस्तुओं का द्योतक होता […]

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आओ कुछ जाने संपादकीय

बड़ा दिन अर्थात भीष्म पितामह का निर्वाण पर

महाभारत का युद्घ संसार का प्राचीन काल का विश्व युद्घ था। इस युद्घ को कुछ लोगों ने भारतीय इतिहास को अंधकारमयी सिद्घ करने के लिए काल्पनिक करार दिया। लेकिन वैज्ञानिक शोधों से अब प्रमाणित हो चुका है कि महाभारत का युद्घ हुआ था। अब प्रश्न ये आता है कि यह युद्घ हुआ कब? सचमुच जानने […]

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आओ कुछ जाने इतिहास के पन्नों से

समाज को किसने तोड़ा ?

इतिहास की पड़ताल पुस्तक से (अध्याय-15) 2022 के उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों के दृष्टिगत सपा ब्राह्मणों को लुभाने का हर संभव प्रयास कर रही थी। इसी के चलते सपा समर्थक एक पूर्व आईएएस और इतिहासकार ने एक पोस्ट लिखी थी कि ब्राह्मणों ने समाज को तोड़ा नहीं बल्कि जोड़ा है। इसे पढ़कर कई लोगों को […]

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आओ कुछ जाने इतिहास के पन्नों से

भीष्म पितामह और क्रिसमस डे की वास्तविकता

क्या आप भी बोलते हैं हैप्पी क्रिसमस डे? क्या आप भी देते हैं बड़े दिन की बधाइयां? यदि हां तो जानिए इसकी वास्तविकता बड़ा दिन या बढ़ा दिन! क्या है इसका इतिहास? क्या यह जीसस से जुड़ा हुआ है? क्या यह santa-claus से जुड़ा हुआ है। क्या यह भीष्म पितामह से संबंध रखता है? महाभारत […]

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आओ कुछ जाने हमारे क्रांतिकारी / महापुरुष

जब गांधी जी ने स्वामी श्रद्धानंद के हत्यारे अब्दुल रशीद को अपना भाई कहा था

२३ दिसंबर १९२६, अपने छोटे से आवास पर एक आर्य (हिंदू) सन्यासी रोग शैय्या पर औषधि का सेवन करके शांत अवस्था में लेटे हुए थे। अचानक आवास की सीढ़ियों पर कुछ हलचल हुई और एक व्यक्ति प्रकट हुआ। यह कोई विशेष बात नहीं थी रोगी संयासी से बहुधा लोग मिलने आ ही जाते थे। सन्यासी […]

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हरयान या हरियान शब्दों से नहीं, अहिराणा शब्द से हुई है हरियाणा की व्युत्पत्ति

हरयान या हरियान शब्दों से नहीं, अहिराणा शब्द से हुई है हरियाणा की व्युत्पत्ति : डॉ. रामनिवास ‘मानव’ हरियाणा प्रदेश के नाम की व्युत्पत्ति के संबंध में विविध थ्योरियाँ हैं। हरियाणा एक प्राचीन नाम है। वैदिक युग में इस क्षेत्र को ब्रह्मवर्त, आर्यवर्त और ब्रह्मोपदेश के नाम से जाना जाता था। ये सभी नाम हरियाणा […]

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आओ कुछ जाने समाज

ब्रह्मचर्य बल की महिमा

स्वामी भीष्म जी यूँ तो कभी किसी बारात-विवाह आदि में नहीं जाते थे मगर एक बहुत बड़े धनाढ्य सेठ जी जो उनका बहुत मान करते थे और उन्हें गुरु जी कहते थे, तो उनके बार-बार कहने पर उनके पुत्र के विवाह में बारात में मेरठ जाने के लिए तैयार हो गए । उस जमाने में […]

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आओ कुछ जाने

वेदों को जाने

================== !!!! —: वेदों की शाखाएँ :— !!!! वेद का ज्ञान अनन्त हैः– “अनन्ता वै वेदाः।” वैदिक-वाङ्मय ज्ञान का भण्डार है। वैदिक संस्कृत ज्ञान का सागर है। वेद के विद्वानों, ऋषियों ने वैदिक ज्ञान को सुरक्षित रखने के अनन्त उपाय किए। एक उपाय वेद की शाखा से सम्बन्धित है। जैसे वृक्षों में अनन्त शाखाएँ होती […]

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आओ कुछ जाने धर्म-अध्यात्म

ध्यान का प्रपंच और भोली -भाली जनता* *भाग-१*

* विशेष : ये लेख माला ५ भागों में है ,जो वैदिक विद्वानों के लेख और विचारों पर आधारित है। जनहित में आपके सम्मुख प्रस्तुत करने मेरा उद्देश्य है , इसलिए कृपया शेयर करे। डॉ डी के गर्ग पिछले कई वर्षोंसे मेरे पास अलग लग गुरुओं के शिष्य आ रहे है और उनके बाबा गुरु […]

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