भारतीय स्वतन्त्रता के इतिहास में अनेक कम आयु के वीरों ने भी अपने प्राणों की आहुति दी है। उनमें खुदीराम बोस का नाम स्वर्णाक्षरों में लिखा जाता है। उन दिनों अनेक अंग्रेज अधिकारी भारतीयों से बहुत दुर्व्यवहार करते थे। ऐसा ही एक मजिस्ट्रेट किंग्सफोर्ड उन दिनों मुज्जफरपुर, बिहार में तैनात था। वह छोटी-छोटी बात पर […]
लेखक: उगता भारत ब्यूरो
* Dr D K Garg यधपि भारतीय बाबाओ और उनके चमत्कारों के विषय में बहुत कुछ लिखा जा चुका है। इसी श्रंखला में एक और बाबा है जो नीम करौली बाबा या नीम करौरी बाबा या महाराज के नाम से प्रसिद्द है। इनका जन्म स्थान ग्राम अकबरपुर जिला फ़िरोज़ाबाद उत्तर प्रदेश है। बाबा का असली […]
भावना लूणकरणसर बीकानेर, राजस्थान आज़ादी के बाद स्वास्थ्य के क्षेत्र में देश जिन चुनौतियों का सामना कर रहा था उनमें बच्चों में कुपोषण की समस्या भी एक थी. देश के ग्रामीण क्षेत्रों में बच्चों में कुपोषण बहुत ज़्यादा थी. गरीबी और आर्थिक पिछड़ेपन के कारण गर्भवती महिलाओं को पौष्टिक आहार उपलब्ध नहीं हो पाता था. […]
कन्हैया लाल आर्य, उपप्रधान आत्मशुद्धि आश्रम बहादुरगढ़ संस्कृत साहित्य के एक उज्ज्वल रत्न थे आचार्य भवभूति जी। इन्होंने एक उत्तम पुस्तक की रचना की है जिसका नाम है ‘उत्तर राम चरितम्’। इस पुस्तक में भवभूति जी ने भगवान राम का उस समय का वर्णन किया है जब उनकी धर्मपत्नी सीता जी का अपहरण हो जाता […]
बृजेन्द्र सिंह वत्स लोकतंत्र में संवाद उसके प्राण होते हैं और संवाद स्थल संसद उस का मंदिर, संभवतः इसीलिए भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष२०१४,भारत का आधिकारिक संवत,शक संवत १९३६ में जब संसद में प्रथम बार प्रवेश किया था, तो संसद की ढ्योड़ी का वंदन करके इस लोकतंत्र के मंदिर की अभ्यर्थना की थी […]
प्रस्तुति- प्रियांशु सेठ १. जैसे शीत से आतुर पुरुष का अग्नि के पास जाने से शीत निवृत्त हो जाता है वैसे परमेश्वर के समीप प्राप्त होने से सब दोष दुःख छूटकर परमेश्वर के गुण कर्म स्वभाव के सदृश जीवात्मा के गुण कर्म स्वभाव पवित्र हो जाते हैं। (सत्यार्थप्रकाश समुल्लास ७) २. जो परमेश्वर की स्तुति, […]
अनन्या मिश्रा आज के दिन यानी की 10 अगस्त को देश के पूर्व राष्ट्रपति वी वी गिरी का जन्म हुआ था। उन्होंने देश के मजदूर वर्ग को एक नई आवाज देने का काम किया था। इसके साथ ही देश की आजादी की लड़ाई में वी वी गिरी ने सक्रिय भूमिका निभाई थी। अगर आज हमारे […]
Dr D K Garg हिंदू धर्म में ईश्वर को सर्वव्यापी मानते हैं लेकिन इस मान्यता के विपरीत ईश्वर को अलग अलग रूपों में भी माना लिया और सत्य सिद्ध करने के लिया कहानी व्यहु की रचना भी कर दी , इस कारण हिंदु धर्म की मान्यताओं पर प्रश्न चिन्ह लगना स्वावाभिक हैं। दुखद पहलू ये […]
* बृजेन्द्र सिंह वत्स आज १३ अगस्त २०२३ है, दिन रविवार। वर्ष १९८० की १३ अगस्त को बुधवार का दिन था। हरियाली तीज की उमंगो के साथ ही ३० दिन के पवित्र रमजान माह के पश्चात उस दिन देश ईद उल फितर का पर्व भी मना रहा था।ईद उल फितर के अवकाश का आनंद लेने […]
रितिका गरुड़, उत्तराखंड 21वीं सदी साइंस और टेक्नोलॉजी का दौर कहलाता है. लेकिन इसके बावजूद कुछ मुद्दे ऐसे हैं जो आज भी मानव सभ्यता के लिए किसी कलंक से कम नहीं है. इसमें सबसे बड़ा मुद्दा रंगभेद का है. त्वचा और रंग के आधार पर इंसान का इंसान के साथ भेदभाव करने की संकीर्ण सोच […]