धरती को रखना हरा-भरा, यह जीवन धर्म हमारा। वृक्षों का रक्षण परिपोषण, पावन कर्तव्य हमारा।। कुछ याद करे उस बलिदानी, अमृता देवी की अमर कथा, जो जूझ गयी तलवारों से, कटते पेड़ों के देख व्यथा। आखिर राजा भी नतमस्तक, टपकी टप अश्रु धारा ।।1।। अनमोल रतन जल धरती पर, वेदों ऋषियों ने यह माना हम […]
धरती को रखना हरा-भरा,
