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भ्रांति निवारण

अंधविश्वास : शिव की सवारी बैल

डॉ डी के गर्ग प्रचलित मान्यता: शिव हिमालय पर्वत पर रहते है और उनकी सवारी बैल है। नंदी की उत्पत्ति के बारे में कई कथाएं है कौन सी कथा सत्य और प्रामाणिक हैं ये कथाकार और उनके अनुयायियों को मालूम होगा क्योंकि ये कथाएं वैज्ञानिक रूप से और ईश्वरीय नियमों के विरोध होने के कारण […]

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भ्रांति निवारण

ब्राह्मण शब्द को लेकर भ्रांतियां एवं उनका निवारण

डॉ विवेक आर्य ब्राह्मण शब्द को लेकर अनेक भ्रांतियां हैं। इनका समाधान करना अत्यंत आवश्यक है। क्यूंकि हिन्दू समाज की सबसे बड़ी कमजोरी जातिवाद है। ब्राह्मण शब्द को सत्य अर्थ को न समझ पाने के कारण जातिवाद को बढ़ावा मिला है। शंका 1 ब्राह्मण की परिभाषा बताये? समाधान– पढने-पढ़ाने से,चिंतन-मनन करने से, ब्रह्मचर्य, अनुशासन, सत्यभाषण […]

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भ्रांति निवारण

साईं बाबा मुस्लिम या हिन्दू : हिन्दू देवी देवताओं के समतुल्य साईं बाबा को बैठाना अज्ञानतापूर्ण

लेखक- स्वर्गीय राजिंदर सिंह विगत कई वर्षों से हिन्दू मंदिरों में साईं बाबा की मूर्तियां बनाकर उनकी पूजा-अर्चना की जाने लगी है। संभवत ऐसा कोई शहर न होगा जहाँ के पहले से स्थापित मंदिरों में साईं बाबा का प्रवेश न हुआ हो। मेरा दावा है कि साईं बाबा को पूजने वालों ने ऐसा कभी नहीं […]

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पाखंड खंडिनी भ्रांति निवारण

अनेकेश्वरवाद (Polytheism) की कल्पना एक अंधविश्वास – भाग 1

डॉ0 डी. के. गर्ग  अनेकेश्वरवाद एक ऐसा विश्वास है जिसमे हरेक धर्म मत और संप्रदाय का मानने वाला उलझा हुआ है। ईसाई जीसस को ईश्वर का पुत्र बताने के साथ साथ जीसस , मरियम और क्रॉस को पूजते है , ईश्वर स्तुति से कोई लेना देना नहीं। मुस्लिम अल्ला के साथ साथ मोहम्मद,कब्र को भी […]

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भ्रांति निवारण शंका-समाधान

क्या हनुमान आदि वानर बन्दर थे ?

(हनुमान जयंती के शुभ अवसर पर विशेष रूप से प्रचारित ) वाल्मीकि रामायण में मर्यादा पुरुषोतम श्री राम चन्द्र जी महाराज के पश्चात परम बलशाली वीर शिरोमणि हनुमान जी का नाम स्मरण किया जाता हैं। हनुमान जी का जब हम चित्र देखते हैं तो उसमें उन्हें एक बन्दर के रूप में चित्रित किया गया हैं […]

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भ्रांति निवारण

क्या स्त्रियों को भी गायत्री जप का अधिकार है

प्रियांशु सेठ आज के युग में हिन्दू समाज में एक भ्रान्ति फैली हुई है कि गायत्री मन्त्र के जप का अधिकार स्त्रियों को नहीं है। ये हमारे शास्त्रों के विरुद्ध है। प्राचीन काल में सभी स्त्रियां व पुरुष नित्य गायत्री की उपासना करते थे किन्तु आज ये नहीं होता। आजकल पौराणिक गुरु अपने चेले और […]

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धर्म-अध्यात्म भ्रांति निवारण

दान एक निष्काम सेवा ? दान देने सम्बंधित भ्रांतिया और निवारण

(दान क्या है , क्यों करें ,किसको करना चाहिए – एक अध्ययन) – डॉ डी के गर्ग महर्षि दयानन्द के अनुसार – संसार में जितने भी दान हैं अर्थात् जल, अन्न, गौ, पृथ्वी, वस्त्र, तिल, सुवर्ण और घृतादि। .इन सभी दानों में से वेदविद्या का दान अतिश्रेष्ठ है।इसलिए जितना बन सके. उतना तन, मन, धन […]

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भ्रांति निवारण

प्रयागराज, तीर्थराज और त्रिवेणी संगम की वास्तविकता, भाग – 5

देवेंद्र सिंह आर्य ज्योतिषपीठाधीश्वर स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद जी के विषय में हम सभी जानते हैं कि उन्हें स्वामी स्वरूपानंद जी की गद्दी उत्तराधिकार में अभी वैधानिक दृष्टिकोण से प्राप्त नहीं हुई है । इसके उपरांत भी वह अपने आप को शंकराचार्य लिखते हैं । उनकी पृष्ठभूमि भी कांग्रेस की रही है। कांग्रेस में रहते वे राजनीति […]

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भ्रांति निवारण

प्रयागराज, तीर्थराज और त्रिवेणी संगम की वास्तविकता, भाग – 4

(ईशोपनिषद के आधार पर ) मोक्ष प्राप्ति की साधना भारत के ऋषियों की अनुपम साधना है। शेष विश्व के विद्वान आज तक मोक्ष प्राप्ति की साधना के रहस्य को समझ नहीं पाए हैं । यद्यपि एक काल ऐसा भी था जब संपूर्ण भूमंडल पर सनातन का डंका बजा करता था। संपूर्ण भूमंडल पर वैदिक सनातन […]

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भ्रांति निवारण

प्रयागराज, तीर्थराज और त्रिवेणी संगम की वास्तविकता, भाग – 3

महाकुंभ को लेकर ज्योतिष पीठाधीश्वर स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद को शास्त्रार्थ की खुली चुनौती ‌ ‌ ‌ द्वितीय किस्त में हमने योग ऋषि पतंजलि महाराज के द्वारा रचित योग दर्शन के माध्यम से मोक्ष की प्राप्ति के विषय में संक्षेप में लिखा था। इसके अतिरिक्त वैशेषिक सूत्र ( १ -१- ४ ) में ‘धर्मविशेषप्रसूत’ पद के शब्द […]

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