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संपादकीय

राम अयोध्या कब लौटे?

हमारे यहां दीपावली का पर्व सृष्टि के प्रारंभ से ही मनाया जाता रहा है। इस पर्व का विशेष महत्व है। दीपों का यह प्रकाश पर्व हमारे अंत: करण में व्याप्त अज्ञान अंधकार को मिटाकर ज्ञान का प्रकाश करने का प्रतीक पर्व है। हमारे यहां पर प्रत्येक सद्गृहस्थ के लिए आवश्यक था कि घर में अग्नि […]

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राम अयोध्या कब लौटे?

हमारे यहां दीपावली का पर्व सृष्टि के प्रारंभ से ही मनाया जाता रहा है। इस पर्व का विशेष महत्व है। दीपों का यह प्रकाश पर्व हमारे अंत: करण में व्याप्त अज्ञान अंधकार को मिटाकर ज्ञान का प्रकाश करने का प्रतीक पर्व है। हमारे यहां पर प्रत्येक सद्गृहस्थ के लिए आवश्यक था कि घर में अग्नि […]

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महत्वपूर्ण लेख

दूधेश्वर मठ के सेवा प्रकल्प:इतिहास के आईने में

एक मात्र भारत ही ऐसी धर्मभूमि है, जहां भगवान विभिन्न रूपों में प्रकट होकर एक से अनेक स्वरूप व स्थान में पूजित होते हैं, स्वयं कर्म की प्रतिष्ठा करते हैं, कत्र्तव्य परायणता का आदर्श उपस्थित करते हुए सज्जनों का संरक्षण व दुष्टों का दमन करते हैं। यह अनेक रूपता अवतारों के रूप में भी होती […]

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दूधेश्वर मठ के सेवा प्रकल्प:इतिहास के आईने में

एक मात्र भारत ही ऐसी धर्मभूमि है, जहां भगवान विभिन्न रूपों में प्रकट होकर एक से अनेक स्वरूप व स्थान में पूजित होते हैं, स्वयं कर्म की प्रतिष्ठा करते हैं, कत्र्तव्य परायणता का आदर्श उपस्थित करते हुए सज्जनों का संरक्षण व दुष्टों का दमन करते हैं। यह अनेक रूपता अवतारों के रूप में भी होती […]

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प्रमुख समाचार/संपादकीय

वेद, महर्षि दयानंद और भारतीय संविधान-40

अनुसूचित जाति, जनजाति की अवधारणा नितांत भ्रामकभारतीय समाज में अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति शब्दों की उत्पत्ति अंग्रेजी काल से आयी है। इससे पूर्व महाभारत युद्घ के पश्चात भारत के पराभव के काल में भारत में जाति व्यवस्था का श्रीगणेश हुआ। उस जाति व्यवस्था ने भारत के एक बहुत बड़े समाज को अछूत बना दिया। […]

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प्रमुख समाचार/संपादकीय

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भारतीय संस्कृति

अमानवीय तालिबानी गतिविधियों के विरुद्ध फ़तवों की दरकार

तनवीर जाफऱीजिस इस्लाम धर्म को साढ़े चौदह सौ वर्ष पूर्व हजऱत मोहम्मद के नाती हजऱत इमाम हुसैन ने अपनी व अपने परिजनों की जान की कुर्बानी देकर यज़ीद जैसे तत्कालीन दुष्ट एवं क्रूर सीरियाई शासक के चंगुल में जाने से बचाया था दुर्भाग्यवश आज वही इस्लाम धर्म क्रूर तालिबानी मुसलमानों की गिरफ़्त में जाता दिखाई […]

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भारतीय संस्कृति

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तनवीर जाफऱीजिस इस्लाम धर्म को साढ़े चौदह सौ वर्ष पूर्व हजऱत मोहम्मद के नाती हजऱत इमाम हुसैन ने अपनी व अपने परिजनों की जान की कुर्बानी देकर यज़ीद जैसे तत्कालीन दुष्ट एवं क्रूर सीरियाई शासक के चंगुल में जाने से बचाया था दुर्भाग्यवश आज वही इस्लाम धर्म क्रूर तालिबानी मुसलमानों की गिरफ़्त में जाता दिखाई […]

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भारतीय संस्कृति

धर्म, साम्प्रदायिकता और राजनीति

मस्तराम कपूरमानव जाति के इतिहास पर नजर डालने से दिखाई देगा कि धर्म के नाम पर दुनिया में जितने अच्छे काम हुए हैं, उसे कई गुना बुरे काम हुए हैं। आदिम समाजों से लेकर आधुनिकतम समाजों तक आदमी किसी न किसी धर्म को मानता रहा है- इसकी कल्याणकारी शक्ति से प्रभावित होकर इतना नही जितना […]

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धर्म, साम्प्रदायिकता और राजनीति

मस्तराम कपूरमानव जाति के इतिहास पर नजर डालने से दिखाई देगा कि धर्म के नाम पर दुनिया में जितने अच्छे काम हुए हैं, उसे कई गुना बुरे काम हुए हैं। आदिम समाजों से लेकर आधुनिकतम समाजों तक आदमी किसी न किसी धर्म को मानता रहा है- इसकी कल्याणकारी शक्ति से प्रभावित होकर इतना नही जितना […]

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