जम्मू कश्मीर की बाहरवीं विधान सभा के चुनाव नतीजे २३ दिसम्बर को घोषित हो गये थे । यद्यपि चुनाव परिणामों में विभिन्न दलों को मिली सीटों से इतना अन्दाज़ा तो हो ही गया था कि सरकार उतनी आसानी से नहीं बनेगी जितनी आसानी से २३ दिसम्बर से पहले समझा जा रहा था । लेकिन इतनी […]
श्रेणी: महत्वपूर्ण लेख
फ्रांस की राजधानी पेरिस में शार्ली हेब्दो नामक पत्रिका के कार्यालय पर फ़िदायीन के दो इस्लामी आतंकियों ने आक्रमण करके बारह लोगों को मौत के घाट उतार दिया । जिनमें वे चार पत्रकार भी थे , जो पत्रकार जगत में अपने चुटीले कार्टूनों के नाते जाने पहचाने जाते थे । आज से कुछ साल पहले […]
डॉ. मयंक चतुर्वेदी भारतीय पत्रकारिता की यात्रा जैसे-जैसे समय के साथ आगे बढ़ती जा रही है, इसे लेकर चहुंओर जन मानस की आम धारणाओं में निरंतरी अंतर देखने को मिल रहा है। इसके वाबजूद भी आज ऐसे लोगों की कमी नहीं है जो इसे वर्तमान और भविष्य की दिशा तय करने वाला सशक्त माध्यम मानते […]
रज्जाक अहमद संत (शैतान) रामपाल का धर्म के नाम पर ऐसा घिनौना खेल सामने आया, कि उसे देखकर धर्म भी शर्मसार हो गया। वैसे इन दिनों स्वयंभू धर्म गुरूओं और बाबाओं का पूरे देश में ऐसा जाल फैला हुआ है कि साधारण आदमी वास्तविक संत और ठगिया शैतान के बीच परख नही कर पा रहा […]
पानी की बूंद की उत्पत्ति का रहस्य भी अजीब है | मैंने बहुत सोचा, परन्तु समझ न सका , कहाँ से आया और इसका क्या हश्र होगा? खैर ! बूंद, जिसकी शायद नियति ही थी उसकी उत्पत्ति का कारण| बूंद तो अपने आप में मग्न थी क्योंकि वह अपने आप को बादल का एक सदस्य […]
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उत्तरी भारत में देव सोने और उठने की बात सुनने में आती है। इस देव सोने और उठने का एक निश्चित काल है-आषाढ़ माह की ‘भदौरिया नवमी’ को देव सोते हैं और कार्तिक में ‘देवोत्थानी एकादशी’ के दिन देव उठते हैं। देव सोने और जागने की यह परंपरा भारत में युगों पुरानी है। देव सोने […]
आधुनिक भारत के शिल्पी सरदार वल्लभ भाई पटेल के विचार, कर्म और उनकी स्मृतियां मन को रोमांच और गौरव से भर देती हैं। वे ऐसे राष्ट्रभक्त महापुरुष थे जिनके लिए ‘राष्ट्र सबसे पहले’ था। सरदार सही मायने में राष्ट्रीय एकता के प्रतीक थे और हैं। उनकी जयंती को ‘राष्ट्रीय एकता दिवस’ के रूप में मनाने […]
आजकल डिब्बाबंद खान-पान सामग्री का प्रचलन जोर पकड़ता जा रहा है। जब से हमने परिश्रम करना छोड़ दिया है तभी से हम तैयार खान-पान के आदी हो गए हैं।
जिस प्रकार मंदिर में पुजारी , गुरुद्वारे में ग्रन्थी और चर्च में पादरी होता है उसी प्रकार मस्जिद में इमाम होता है । इमाम,मोटे तौर पर जुम्मा यानि शुक्रवार के दिन मस्जिद में नमाज़ के लिये जो मुसलमान इक्कठे होते हैं , उनकी नमाज़ का मंच से संचालन करता है । नमाज़ के बाद वह […]