पूरे विश्व में फैली कोरोना वायरस की महामारी के कारण भारत में इस महामारी को रोकने के उद्देश्य से 40 दिनों का लॉकडाउन लागू किया गया है। जिसके चलते देश भर की अधिकतर उत्पादन इकाईयाँ बंद कर दी गईं एवं आर्थिक गतिविधियों सहित विभिन्न अन्य सामान्य प्रकार की गतिविधियों को भी रोक दिया गया। इसके […]
लेखक: प्रहलाद सबनानी
लेखक भारतीय स्टेट बैंक से सेवा निवर्त उप-महाप्रबंधक हैं।
पूरे विश्व में फैली कोरोना वायरस महामारी से होने वाले गम्भीर परिणामों का आँकलन केन्द्र में मोदी सरकार द्वारा सही समय पर ही कर लिया गया था एवं इसीलिए भारत में विशेष रूप से ग़रीब वर्ग को राहत देने के उद्देश्य से वित्त मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण ने 26 मार्च को 1.7 लाख करोड़ रूपये […]
विश्व में फैली कोरोना महामारी के बाद, अब केंद्र में मोदी सरकार द्वारा देश की अर्थव्यवस्था को पुनर्जीवित करने के लिए भरसक प्रयास किए जा रहे हैं। सबसे पहिले तो माननीय प्रधान मंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने 20 लाख करोड़ रुपए के एक विशेष आर्थिक पैकेज की घोषणा की। बाद में, देश की वित्त मंत्री […]
सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग (एमएसएमई) देश की अर्थव्यवस्था के विकास में एक अहम भूमिका अदा करता है। एमएसएमई क्षेत्र की देश के सकल घरेलू उत्पाद में 30 प्रतिशत, औद्योगिक उत्पादन में 45 प्रतिशत और निर्यात में 48 प्रतिशत की हिस्सेदारी है। कृषि क्षेत्र के बाद, एमएसएमई क्षेत्र में रोज़गार के सबसे अधिक अवसर निर्मित […]
देश के प्रधानमंत्री माननीय श्री नरेंद्र मोदी ने दिनांक 12 मई 2020 को सायं 8 बजे देश को सम्बोधित करते हुए अपने उदबोधन में कहा है कि दुनिया को कोरोना संकट से मुक़ाबला करते हुए अब 4 महीने से ज़्यादा का समय हो गया है। इस दौरान सभी देशों के 42 लाख से ज़्यादा लोग […]
आज पूरे विश्व में कोरोना महामारी की जो स्थिति है उससे हम सभी भलीभाँति वाक़िफ़ हैं। केंद्र सरकार ने इस महामारी को भारत में फैलने से रोकने के लिए कैसे-कैसे गम्भीर प्रयास किए इसके भी आप साक्षी हैं। जब भारत में कोरोना का एक भी मरीज़ नहीं था तब देश में बाहर से आने वाले […]
प्रह्लाद सबनानी उद्योग धंधे सामान्यतः उन इलाक़ों में अधिक स्थापित किए गए जहाँ कच्चा माल उपलब्ध था अथवा उन इलाक़ों में जहाँ उत्पाद का बाज़ार उपलब्ध था। महाराष्ट्र, गुजरात, तमिलनाडु आदि प्रदेशों में इन्हीं कारणों के चलते अधिक मात्रा में उद्योग पनपे हैं। देश में पलायन की समस्या इतनी विकराल तब दिखी जब कोरोना वायरस […]
आज विश्व के कई विकसित देशों में मानसिक रोग से पीड़ित व्यक्तियों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है। ऐसा संभवत: इन देशों द्वारा आर्थिक प्रगति हेतु अपनाए गये पूँजीवादी मॉडल के कारण हो रहा है। हर व्यक्ति को केवल अपनी चिंता है और केवल “कमाने वाला खाएगा” के सिद्धांत पर ही इन देशों की […]
देश में पलायन की समस्या इतनी विकराल तब दिखी जब कोरोना वायरस के कारण इतनी भारी तादाद में लोग शहरों से ग्रामों की ओर पलायन करने लगे। हालाँकि केंद्र सरकार ने लोगों को विभिन्न शहरों से उनके घरों तक पहुँचाने के लिए विशेष श्रमिक रेलगाड़ियाँ चलाईं हैं परंतु फिर भी कई लोग शहरों से ग्रामों की […]
सरकार ने बजटीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 3.8 प्रतिशत तक बढ़ाने का फ़ैसला किया है परंतु आज की स्थितियों को देखते हुए यह 2020-21 में इससे भी काफ़ी अधिक हो सकता है। क्योंकि, केंद्र एवं राज्य सरकारों को विभिन्न करों से आय बहुत कम होने की सम्भावना है। देश में धीरे-धीरे चरणबद्ध तरीक़े […]