दयाशंकर आर्य को किया गया सम्मानित : जिलाधिकारी बोले – आर्य समाज की शिक्षाओं से ही बन सकता है देश महान

बबराला । कार्यक्रम में अपनी विशेष और सक्रिय भूमिका निभाने वाले दयाशंकर आर्य को जैविक खेती को प्रोत्साहित करने के लिए किए गए विशेष कार्यों के लिए सम्मानित किया गया । उन्हें यह सम्मान पतंजलि बायो रिसर्च इंस्टीट्यूट की तरफ से डॉक्टर जे एल द्विवेदी कृषि वैज्ञानिक और स्थानीय विधायक अजीत कुमार उर्फ राजू यादव द्वारा प्रदान किया गया।सम्मान प्राप्ति के पश्चात श्री आर्य ने कहा कि वह अपने इस कार्य को एक मिशन के रूप में कर रहे हैं। जिसमें वह बहुत ही अधिक आत्मसंतोष अनुभव करते हैं। उन्होंने कहा कि वर्तमान समय में मिलावटी भोजन और स्वास्थ्य को चौपट करने वाले पेय पदार्थों के कारण पूरा देश बीमारों का होकर रह गया है। जिससे बचाने के लिए हमें जैविक खेती को प्रोत्साहित करना ही होगा।इस कार्यक्रम में जिलाधिकारी संभल श्री अविनाश कृष्ण ने भी अपने विचार व्यक्त किए । उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि आर्य समाज की विचारधारा से ही देश महान बन सकता है। जिलाधिकारी ने कहा कि भारतवर्ष सभी लोगों के अधिकारों का सम्मान प्राचीन काल से करता आया है। इसी सोच के कारण भारत ने विश्व में सम्मान पाया है । हम आज भी अपनी इसी सोच को लेकर आगे बढ़ रहे हैं और मुझे पूरा विश्वास है कि आर्य समाज इस क्षेत्र में कार्य करते हुए भारत को विश्व गुरु बनाने में अपनी भूमिका का निर्वाह करता रहेगा।कार्यक्रम में आर्य जगत के सुप्रसिद्ध भजनोपदेशक रामनिवास आर्य व शंकर मित्र ने भी लोगों का भजनोपदेशन के माध्यम से मार्गदर्शन किया और आर्य विचारधारा के माध्यम से देश व समाज को महान बनाने की प्रेरणा दी। कार्यक्रम में पलवल से पहुंची एक विशेष टीम ने भी अपने लोक गीतों के माध्यम से लोगों का मन मोह लिया । इस अवसर पर टीकमसिंह आर्य आदर्श विद्यालय के छात्र छात्राओं ने भी अपने सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किए और एक जानदार संदेश देने में सफलता प्राप्त की। जिसका श्रेय विद्यालय के संचालक ज्योति बसु आर्य को दिया गया।कार्यक्रम को सफल बनाने में श्री नवनीत आर्य , श्री रामवीर सिंह आर्य , श्री राजेंद्र सिंह आर्य , आचार्य जीवनसिंह आर्य , प्रिंसिपल गजेंद्रसिंह आर्य सहित उनकी नवगठित टीम के सभी उत्साहित साथियों का विशेष योगदान रहा । जिन्होंने दिन रात मेहनत कर इस कार्यक्रम में देश की विभिन्न प्रतिभाओं को एकत्र कर लोगों को एक शानदार संदेश देने में सफलता प्राप्त की।कार्यक्रमों का संचालन करते रहे श्री राजेंद्रसिंह आर्य ने बताया कि देश जागरण के लिए ऐसे कार्यक्रम करने समय की आवश्यकता है । जिन्हें आर्य समाज बबराला भविष्य में भी निरंतर करता रहेगा । उन्होंने कहा कि हम भारत को फिर से विश्व गुरु बनाने के लिए कृतसंकल्प है । जिसके लिए महर्षि दयानंद के वैदिक शिक्षा संस्कारों का प्रचार प्रसार करना बहुत आवश्यक है।

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