* डॉ डी के गर्ग “ रामायण और महाभारत के प्रति भ्रांतिया;; से साभार भाग-2 गांधारी द्वारा अपनी आँखों पर पट्टी बाँधने का विश्लेषण इस कथानक में मुहावरे की भाषा,उपमा अलंकार का प्रयोग है ।आँखों पर पट्टी बांध लेना एक लोकोक्ति यानी मुहावरा है। जिसमें कहा जाता है कि “भाई, उसने तो अपनी आँखों पर […]
श्रेणी: आओ कुछ जाने
मालव अर्थात लक्ष्मी का निवास ‘मालवा’ अपनी अनेकानेक भौगोलिक , सांस्कृतिक और ऐतिहासिक खूबियों के कारण विश्व प्रसिद्ध है। इन प्रसिद्धियों में चार चांद लगाती है धार स्थित राजपूत शैली की परमार कालीन भूमज शैली में निर्मित भोजशाला। जिसका गौरवशाली विशेषता यह है कि इसका आकार “स्वस्तिकाकार ताराकृत है।जिसे सरस्वती मंदिर, भोज का कमरा, मध्य […]
ऋषि दयानन्द ‘सत्य’ को सर्वोपरि मानते थे। उनका दृढ़ विश्वास था कि – “जो सत्य है उसको सत्य और जो मिथ्या है उसको मिथ्या ही प्रतिपादन करना सत्य अर्थ का प्रकाश समझा है क्योंकि सत्योपदेश के बिना अन्य कोई भी मनुष्य जाति की उन्नति का कारण नहीं ।” ऋषि संसार के सब मनुष्यों को एक […]
इस लेख के शीर्षक को पढ़कर लोग कहेंगे कि ऐसा कैसे हो सकता है ?लेकिन यह बात बिलकुल सत्य और प्रामाणिक है , सब जानते हैं की कुरान के बाद हदीसों को ही प्रमाण माना जाता है और उनकी संख्या कई हजार है अधिकांश मुस्लिम उनके नाम भी नहीं जानते इसलिए चालाक मौलवी मुसलमानों की […]
“1875 में मुम्बई में जब कई उत्साही सज्जनों ने स्वामी दयानन्द सरस्वती जी के समक्ष नया ‘समाज’ स्थापित करने का प्रस्ताव रखा, तब उस दीर्घद्रष्टा ऋषि ने अपनी स्थिति को स्पष्ट करते हुए और उन लोगों को सावधान करते हुए कहा – “भाई, हमारा कोई स्वतन्त्र मत नहीं है । मैं तो वेद के अधीन […]
परीक्षा के दिनों में सावधानियां डॉ. मनमोहन सिंह – विभूति फीचर्स परीक्षा के दिनों में आमतौर पर बच्चे घबरा जाते हैं। उन पर एक तो परीक्षा के कारण पढऩे का बोझ बढ़ जाता है और दूसरा माता-पिता भी उनका बोझ और डर बढ़ाने में सहायक होते हैं। आज के दौर में हर माता-पिता चाहते हैं […]
रहस्यमय है पाताल लोक की दुनिया (दीपक नौगाई’अकेला’-विनायक फीचर्स) प्रकृति के जितने करीब जाओ , उतना ही वह नए रुप में हमारे सामने आती है । बात उतराखण्ड की हो तो इस देवभूमि मे अनेक ऐसे रहस्यमय स्थान है, जिनके दर्शन आपको चकित एवं मंत्रमुग्ध कर देंगे । ऐसा ही एक स्थान कुमाऊं मण्डल के […]
फ़िरोज़ा अंसारी पुंछ, जम्मू “मुझे करीब पांच साल पहले गले के कैंसर के बारे में पता चला. पहले मुझे कान के पास एक छोटी सी गांठ हो गई थी. जिस पर मैंने बहुत गंभीरता से ध्यान नहीं दिया. धीरे-धीरे मेरी भूख बंद हो गई. जब मैंने चेकअप करवाया तो पता चला कि मुझे कैंसर हो […]
तहलका वाला तरुण तेजपाल याद है? अभी कुछ दिन पहले अखबार के एक कोने में उसका माफीनामा छपा है। कहानी इस प्रकार है। मार्च 2001 में अटल बिहारी वाजपेई प्रधानमंत्री थे फिर कांग्रेस और वामपंथी पार्टियों ने तहलका के संपादक तरुण तेजपाल को अटल सरकार को बदनाम करने की सुपारी दिया और कांग्रेस ने यह […]
राजू आकाश की ओर एकटक देख रहा था। तभी उसके दादाजी की नजर उसकी ओर पड़ी । उन्होंने राजू को टोकते हुए कहा कि “राजू ! तुम ऊपर टकटकी लगाये क्या देखते हो?” राजू : दादाजी ! मैं उड़ते हुए जहाज को देख रहा हूं कि यह भी इंसान ने क्या अजीब चीज बनाई है […]