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इसलाम और शाकाहार

इस्लाम और इस्लामिक भाईचारा ( उम्मा / Islamic Brotherhood)

14 दिसम्बर 1971 –

बांग्लादेश का निर्माण होना और पाकिस्तान की सेना का आत्मसमर्पण निश्चित हो चुका था. 14 दिसम्बर उनके शासन का अंतिम दिन था. 16 दिसम्बर को आत्मसमर्पण किया था.

उस दिन पाकिस्तानी सुन्नी मुस्लिम सेना ने बंगलादेश के लगभग 200 बुद्धिजीवियों को फांसी पर टांग दिया. इसमें साहित्यकार, चिकित्सक, वकील, प्रोफेसर, पत्रकार और अन्य क्षेत्रों से सम्बन्ध रखने वाले बुद्धिजीवी थे.

इन बुद्धिजीवियों में शायद 10 से कम हिन्दू थे . बाकी सभी मुस्लिम थे. मुस्लिमों में भी अधिकाँश सुन्नी थे.
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चलिए मान लेते हैं हिन्दू तो काफिर है उसका क़त्ल वाजिब है कुरआन और हदीस के अनुसार.
शिया का भी क़त्ल किसी तरह जायज मान लेते हैं हदीस के आधार पर.
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पर सुन्नियों का क़त्ल …. क्योंकि वह बंगाली थे. देखने में छोटे कद के और काले थे. गंदी मछली खाते थे और कत्ल करने वाले पंजाबी थे देखने में गौरे लम्बे थे चिकन, मटन और बिरयानी खाते थे.

आज भारत के मुस्लिम पाकिस्तान को बड़ी मुहब्बत की नजर से देखते हैं . आज भी भारत और पाकिस्तान के मुस्लिम दोनों ही 2 नेशन थ्योरी को मानते हैं.

अब मान लें भारत के 2 और टुकड़े हो जाएं और मुसलमान एक नए टुकड़े में चले जाएं तो क्या होगा?

केरल के मुस्लिम तो आज भी काले और नाटे हैं, मलयालम बोलते हैं. उन्हें पाकिस्तान के मुस्लिम कैसे गले लगाएंगे?

परवेज हुदबाई नाम के एक फिजिक्स के प्रोफेसर हैं जो पाकिस्तान में एक जानामाना नाम है. एक वीडियो में वह पाकिस्तान के युवाओं को कह रहे हैं कि 2 नेशन थ्योरी तो बंगलादेश अलग होते ही ख़त्म हो गई थी.

मान लो आज ही भारत के हिस्से वाला कश्मीर पाकिस्तान को दे देते हैं.
क्या होगा ?
पकिस्तान के कब्जे वाले काश्मीर (POK) को देखें –
अपने कश्मीरियों पर उन्हें विश्वास नहीं.
30000 अफगानी परिवार लाकर बसा दिए. बजट के नाम पर पाकिस्तन उन्हें कुछ भी नहीं देता. कोई होस्पिटल नहीं, कोई शिक्षा व्यवस्था नहीं.
टूरिज्म से आय शून्य. सारी दुनिया के आतंकवादियों की जन्नत बन गया है POK.

जब POK में भूकम्प आया तो कई दिन तक लाशें सडती रही.

पाक सेना की रेजिमेंट –
पंजाब रेजिमेंट — 100% पंजाबी.
सिंध रेजिमेंट . 20% सिन्धी 80% पंजाबी.
बलोच रेजिमेंट 15 % बलोच 85% पंजाबी.

जब पाकिस्तान अपने लोगों से यह करता है तो भारत के सुन्नी मुस्लिमो से क्या करेगा.-

अब एक नजर पाकिस्तान की व्यवस्था पर —
काफ़िर टमाटर, हराम रूई, ..हिन्दू दवाइयां
पाकिस्तान में टमाटर 300 रुपे किलो. परन्तु भारत से नहीं लेंगे. क्योंकि टमाटर काफिर हैं.
रूई राजस्थान व गुजरात की भारत से दुबई, दुबई से पाकिस्तान.

दुबई जाने से रूई हलाल हो जाती है.

दवाई-
Pentaprazole की गोली भारत में 10 रूपये की 10 गोली.
पाकिस्तान में 150 रूपए की 10 गोली
क्योंकि यूरोप से आयत करते हैं. भारत से आयत करने से दवाई हिन्दू हो जाती है भले ही वह दवाई भारत में एक मुस्लिम द्वारा चलाई गई कम्पनी में बनी हो.

मेक इन इण्डिया की योजना से अगले 5 साल में दवाइयां और अधिक सस्ती हो जाएंगी.

पेट्रोलियम उत्पाद सस्ते होने का कारण है अर्ब देशों से खैरात मिलना.

पहले पाकिस्तान उधार लेता है बाद में कर्ज माफ़ी करवाता है.

चित्र में बंगलादेश के मिहिरपुर में बना स्मारक जिसमे पाकिस्तानी सैनिकों द्वारा बुद्धिजीवियों को मारा जा रहा है.

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